आज हम आपके लिए रिलेशनशिप कोट्स इन हिंदी (Relationship shayari in Hindi) लेकर आये है , रिलेशनशिप(Relationship) मतलब रिश्ता जो कोई भी हो सकता है ,किसीके साथ भी, किसी भी तरह का हो सकता है , रिश्ते अच्छे-बुरे (Good-Bad)बहुत तरह के देखने को मिल जायेगे , पर बात रिश्तो (Relationship) की किस्म की नहीं है ,बात है रिश्ता निभाया कैसे जाये |
आज हम ऐसी ही शायरियाँ (shayaris) जो रिलेशनशिप रिश्तो पर है | इस दुनिया में बहुत हिंदी शायरियाँ (Hindi shayari) लिखी गयी है रिश्तो पर , तो चलिए देखते है क्या लिखा है लोगो ने रिलेशनशिप कोट्स (Relationship shayari )पर , आज इस पोस्ट में आपको रिलेशनशिप बेहतरीन हिंदी शायरियाँ मिलेंगी तो देर किस बात की चलिए |
30+ Best relationship shayari in hindi
रिश्तों में प्यार की मिठास रहे,
एक न मिटने वाल एहसास रहे,
कहने को छोटी से हैं ये जिन्दगी,
लम्बी हो जाए अगर अपनों का साथ रहे.
मशहूर होना पर मगरूर न होना,
कामयाबी के नशे में चूर न होना,
मिल जाए सारी कायनात आपको
मगर इसके लिए कभी ‘अपनों’ से दूर न होना…
हर रिश्ते में विश्वास रहने दो,
जुबान पर हर वक्त मिठास रहने दो,
यही तो अंदाज हैं जिन्दगी जीने का,
न खुद रहो उदास, न दूसरों को रहने दो…
रिश्तों में प्यार की मिठास रहे,
एक न मिटने वाल एहसास रहे,
कहने को छोटी से हैं ये जिन्दगी,
लम्बी हो जाए अगर अपनों का साथ रहे.
न तेरी शान कम होती और न तेरा रूतबा घटा होता,
जो गुस्से में कहा, वही हँस के कहा होता…
मशहूर होना पर मगरूर न होना,
कामयाबी के नशे में चूर न होना,
मिल जाए सारी कायनात आपको
मगर इसके लिए कभी ‘अपनों’ से दूर न होना…
हर रिश्ते में विश्वास रहने दो,
जुबान पर हर वक्त मिठास रहने दो,
यही तो अंदाज हैं जिन्दगी जीने का,
न खुद रहो उदास, न दूसरों को रहने दो…
एक मिनट लगता हैं,
रिश्तों का मजाक उड़ाने में,
और सारी उम्र बीत जाती हैं,
एक रिश्ते को बनाने में…
अपने गमों की तू नुमाईस न कर,
अपने नसीब की यूँ आजमाईस न कर,
जो तेरा हैं वो ख़ुद तेरे दर पर चल के आयेग,
रोज उसे पाने की ख्वाहिश न कर…
खुद के इस हुनर को जरूर आजमाना,
जब जंग हो अपनों से तो हार जाना…
निकाल के जिस्म से जो अपनी जान देता हैं,
बड़ा ही मजबूत है वो पिता जो कन्यादान देता हैं…
अपने गमों की तू नुमाईस न कर,
अपने नसीब की यूँ आजमाईस न कर,
जो तेरा हैं वो ख़ुद तेरे दर पर चल के आयेग,
रोज उसे पाने की ख्वाहिश न कर…
तुझे तो मिल गये होंगे,
कई नये साथी लेकिन
मुझे आज भी हर मोड़ पर
तेरी कमी महसूस होती हैं.
झुकने से रिश्ता गहरा हो,
तो झुक जाओ,
पर हर बार आपको ही झुकना पड़े,
तो रूक जाओ…
सारी जिन्दगी रखा हैं,
रिश्तों का भ्रम…
लेकिन सच पूछो तो
कोई भी अपने सिवा
अपना नही होता…
कोई टूटे तो उसे सजाना सीखो,
कोई रूठे तो उसे मनाना सीखो,
रिश्ते तो मिलते हैं मुकद्दर से,
बस उन्हें ख़ूबसूरती से निभाना सीखो…
कुछ खास रिश्ते कुछ खास समय में परखे जाते हैं…
औलाद – बुढ़ापे में
दोस्त – मुसीबत में
पत्नी – ग़रीबी में
रिश्तेदार – जरूरत में
रिश्ते और विश्वास दोनों मित्र हैं…
रिश्ते रखो या ना रखो पर
पर विश्वास ज़रूर बनाये रखना…
क्योकि जहाँ विश्वास होता हैं
वहाँ रिश्ते अपने आप बन जाते हैं…
किसी भी रिश्ते की सिलाई,
अगर भावनाओं से हुई हैं तो टूटना मुश्किल हैं
और अगर स्वार्थ से हुई हैं तो टिकना मुश्किल हैं…
दिल से बने जो रिश्ते उनका नाम नही होता,
इनका कभी भी निरर्थक अंजाम नही होता,
अगर निभाने का जज्बा दोनों तरफ से हो,
तो ये पाक रिश्ता कभी बदनाम नही होता…
बदला हुआ वक़्त है, ज़ालिम ज़माना है..
यहां मतलबी रिश्ते है, फिर भी निभाना है..!
एक मैं हूँ कि समझ नही सका खुद को आज तक !!!
और एक ये दुनिया वाले हैं जो न जाने क्या क्या समझ लेते हैं.
मुलाकातें जरूरी हैं,
अगर रिश्ते निभाने हैं,
वरना लगाकर भूल जाने से,
तो पौधे भी सूख जाते हैं…
अक्सर हम जिन्दगी में अपने बहुमूल्य रिश्तों
को अपने झूठे अभिमान के आग में जला कर
नष्ट कर देते हैं…
खामोश चेहरे पर हजारों पहरे होते हैं,
हँसती आँखों में भी जख्म गहरें होते हैं,
जिनसे अक्सर रूठ जाते है हम
असल में उनसे ही रिश्ते ज्यादा गहरे होते हैं…
रिश्ते पंछियों के समान होते हैं,
जोर से पकड़ो तो मर सकते हैं,
धीरे से पकड़ो तो उड़ सकते हैं,
लेकिन प्यार से पकड़ के रखो,
तो जिन्दगी भर साथ रह सकते है…
माफ़ी मागने से कभी यह साबित नही होता
कि हम गलत हैं और वो सही हैं…
माफ़ी का असली मतलब हैं कि हममें रिश्ता
निभाने की काबलियत उससे ज्यादा हैं…
रिश्तों की ही दुनिया में अक्सर ऐसा होता हैं,
दिल से इन्हें निभाने वाल ही रोता हैं,
झुकना पड़े तो झुक जाना अपनों के लिए
क्योकि हर रिश्ता एक नाजुक समझौता होता हैं.
वक्त कुछ यूँ कट गया,
हम दोनों के हिस्से आधा-आधा बंट गया…
हमारी ‘कद्र’ उन्हें तब होगी..
जब मतलब के ‘रिश्ते’ और
रिश्तों का ‘मतलब’ समझ आएगा…
रिश्ते-नाते कभी जिन्दगी के साथ-साथ नही चलते,
रिश्ते एक बार बनते हैं और फिर जिन्दगी रिश्तों
के साथ साथ चलती हैं…
साथ छोड़ने वालों को तो एक बहाना चाहिए,
वरना निभाने वाले तो मौत के दरवाजे तक साथ नही छोड़ते.
रिश्ते कभी भी “कुदरती” मौत नही मरते
इनका हमेशा ‘इंसान’ ही कत्ल करता हैं
‘नफ़रत’ से
‘नजरअंदाजी’ से
तो कभी ‘गलतफ़हमी’ से…!!!
दिल से लिखी बात दिल को छू जाती हैं,
ये अक्सर अनकही बात कह जाती हैं,
कुछ लोग दोस्ती के मायने बदल देते हैं,
और कुछ लोगो की दोस्ती से दुनिया बदल जाती हैं.
किसी को नजरों में ना बसाओ,
क्योकि नजरों में सिर्फ “सपने” बसते हैं,
बसाना ही हैं तो दिल में बसाओ,
क्योकि दिल में सिर्फ “अपने” बसते हैं.